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बिहार के लाल ने 5600 मीटर की उचाई पर चढ स्थापित किया कीर्तिमान

5600 मीटर तक पहुंच “आजादी का अमृत महोत्सव” अभियान के तहत फहराया झंडा

बीआरएन व्यूरो ,बक्सर।

बिहार के लाल पर्वतारोही नंदन चौबे सीनियर पर्वतारोही सुमन दा के नेतृत्व में सफलतापूर्वक हिमाचल प्रदेश में अज्ञात चोटी जिसकी उचाई 5985 मीटर है , चढने का प्रयास किया लेकिन मौसम की मार से प्रभावित होकर 5600 मीटर तक पहुंच “आजादी का अमृत महोत्सव” अभियान के तहत झंडा फहराया। पर्वतारोही नंदन चौबे ने बताया कि वह हिमाचल की अज्ञात चोटी पर चढने वाले 6 सदस्यीय अभियान का हिस्सा थे।

वे पर्वत के चोटी के दृश्यों को स्मरण करते हुए कहते है कि एक ऐसा सूर्योदय जिसे वह कभी नहीं भूल सकते है । वह दिल मे जज्बों व दिवानगी के साथ शाम सात बजे अपने कैंप से पर्वत की उचाई पर चढने हेतु प्रस्थान किये थे , जिसे वह अपने जीवन की सबसे पागलपन भरी शामों में से एक बताते है। शाम 7 बजे कैंप से प्रस्थान कर आधी रात को शिखर से सूर्यास्त की तस्वीरें लेने के लिए एक अनाम चोटी पर चढ़ना और ऊपर से नीचे के दृश्यों का दीदार करना अब तक के सबसे अच्छे नज़ारों में से एक मानते है। उन्हें सूर्यास्त के बाद घंटों तक एक वीभत्स, ढीले बोल्डर क्षेत्र पर चढ़ना पड़ा। वह रात 2 बजे अपना पैर के संतुलन को खो बैठे और पाँच फीट नीचे गिर गये । इस दौरान उनके सिर का दाहिना हिस्सा एक चट्टान से टकरा गया था । उनका दायां गाल और मुंह मे काफी सूजन हो गया था और खून भी बह रहा था। उनकी बांहों और टांगों मे भी जख्म थे। पांच फीट नीचे गिर कर घायल होने के बावजूद भी वह पहाड़ों के सबसे दुर्गम स्थानों में से एक पर चढ कर आजादी का अमृत महोत्सव का हिस्सा बन सके। वह कुछ मिनटों तक लेटे रहने के बाद लंगड़ाते हुए पहाड़ से नीचे एक कैंप की ओर जाने में सक्षम हुए । एक पर्वतारोही मित्र नीचे उतरने में उनकी सहायता करने के लिए वहां मौजूद था। वह भगवान का आभार व्यक्त करते हुए आगे कहते है कि दिव्य पैनोरमा को शूट करने की मानसिक शक्ति उनके पास थी, जिसे छह अलग-अलग छवियों को एक साथ जोड़कर बनाया गया था।

 

बता दे कि पर्वतारोही नंदन चौबे बक्सर जिले के सरेंजा गांव के अमरनाथ चौबे के पुत्र है । वह दक्षिण भारत के हैदराबाद से बिजनेस मैनेजमेंट किये है । उनका भावी पीढी से कहना है कि सपना देखने का ख्याल सभी को रखना चाहिए। जो सपना देखता है , उसी का सपना एक दिन साकार होता है ।

 

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