♦इस खबर को आगे शेयर जरूर करें ♦

बक्सर के आध्यात्मिक विरासत के संवर्द्धन पर केंद्रीय मंत्री अश्विनी चौबे के दिल्ली स्थित आवास पर संतों के साथ हुई चर्चा  

स्वामी रामभद्राचार्य, पंडित धीरेंद्र शास्त्री एवं अन्य साधु संतों के साथ गणमान्य व्यक्ति रहे उपस्थित

बी आर एन व्यूरो, दिल्ली/ बक्सर।

केंद्रीय मंत्री अश्विनी चौबे के दिल्ली स्थित आवास पर तुलसी पीठ चित्रकूट के पीठाधीश्वर पद्म विभूषण जगदगुरु रामानंदाचार्य स्वामी रामभद्राचार्य जी और बागेश्वर धाम पीठ के धीरेंद्र शास्त्री का आगमन हुआ। बक्सर के आध्यात्मिक सांस्कृतिक संवर्द्धन पर संतों ने चर्चा की। जानकारी हो कि स्वामी रामभद्राचार्य जी महाराज भगवान श्री राम कर्मभूमि सिद्धाश्रम बक्सर के संस्थापक संरक्षक है। केंद्रीय मंत्री श्री चौबे ने स्वामी जी को 2022 में आयोजित सनातन संस्कृति समागम में संकल्पों के लेकर उठाए गए कदमों और अभी तक की प्रगति से अवगत कराया। दिल्ली पधारने पर उनके दर्शन के लिए बड़ी संख्या में श्रद्धालु पहुंचे। असम के मुख्यमंत्री हेमंत विस्वा शर्मा, सांसद मनोज तिवारी, एवं सामाजिक राजनीतिक क्षेत्र सहित अन्य गणमान्य व्यक्ति स्वामी जी और आचार्य जी के दर्शन के लिए पहुंचे। केंद्रीय मंत्री श्री चौबे ने सभी का स्वागत किया। गणमान्य व्यक्तियों का स्वामी जी के साथ आध्यात्मिक चर्चा हुई। इस दौरान बक्सर के अध्यात्म से सभी अवगत हुए।

केंद्रीय मंत्री श्री चौबे ने कहा कि दुनिया की पराक्रमी भगवान श्री राम की सबसे ऊंची मूर्ति बक्सर में स्थापित करने को लेकर आवश्यक कदम उठाए जा रहे हैं। इस संबंध में लगातार विशेषज्ञों एवं अन्य सुविधाओं पर चर्चा हो रही है। जमीन भी प्राप्त मात्रा में देखा गया है। संभवत फरवरी मार्च में भूमि पूजन भी स्वामी जी के गरिमामयी में उपस्थिति में किया जाएगा। बक्सर भगवान राम की प्रथम कर्मभूमि है। रामलला 22 जनवरी को अयोध्या में विराजमान हो जाएंगे। बक्सर भगवान श्री राम की प्रथम कर्मभूमि है, इसे भी सजाने संवारने का संकल्प सभी बक्सर वासियों ने लिया है। साधु संतों का आशीर्वाद और मार्गदर्शन मिल रहा है। आने वाले समय में बक्सर देश का महत्वपूर्ण धार्मिक आध्यात्मिक केंद्र के रूप में सामने आएगा। अत्यंत प्रसन्नता की बात है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन में बक्सर का सर्वांगीण विकास हो रहा है। रामायण सर्किट से बक्सर जुड़ा। विदेशी पर्यटकों का आगमन शुरू हुआ है। सनातन संस्कृति समागम के बाद यहां पर्यटकों की संख्या में और तेजी आई है। आने वाले समय में दक्षिण और उत्तर भारत का यह एक बहुत बड़ा आध्यात्मिक केंद्र होगा। इसका प्रयास किया जा रहा है। भगवान श्री राम की विशालतम पराक्रमी स्वरूप के लिए जहां-जहां भगवान के चरण पड़े हैं। वहां वहां से मिट्टी एकत्रित किया जाएगा। यह अभियान भी अगले साल शुरू किया जाएगा। केंद्रीय मंत्री श्री चौबे ने आए हुए अतिथियों को बक्सर के आध्यात्मिक दृष्टिकोण से अवगत कराया। असम के मुख्यमंत्री श्री शर्मा को केदारनाथ आपदा को केंद्र में रखकर स्व लिखित पुस्तक त्रिनेत्र भेंट की। श्री राम कर्मभूमि न्यास के संस्थापक संरक्षक स्वामी रामभद्राचार्य जी के 75वें जन्मोत्सव जो अयोध्या में 14 जनवरी से 22 जनवरी तक मनाया जा रहा है। उसमें बड़ी संख्या में श्रद्धालु पहुंचे इसे लेकर भी चर्चा हुई। केंद्रीय मंत्री श्री चौबे ने स्वामी जी के साथ राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा, केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी, प्रह्लाद जोशी, असम के मुख्यमंत्री हेमंत विस्वा शर्मा, सांसद मनोज तिवारी आदि को अयोध्या में आयोजित होने वाले जन्म महोत्सव के लिए आमंत्रण भी दिया।

व्हाट्सप्प आइकान को दबा कर इस खबर को शेयर जरूर करें


स्वतंत्र और सच्ची पत्रकारिता के लिए ज़रूरी है कि वो कॉरपोरेट और राजनैतिक नियंत्रण से मुक्त हो। ऐसा तभी संभव है जब जनता आगे आए और सहयोग करे
Donate Now

जवाब जरूर दे 

Sorry, there are no polls available at the moment.

Related Articles

Close
Close
Website Design By Mytesta.com +91 8809666000