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नगरपरिषद उपाध्यक्ष इशरत बानो ने दिया इस्तीफा…. 

नगर परिषद अधिकारी, कर्मचारी, चेयरमैन और दलालों का चतुष्कोणीय गिरोह लूट रहा है सरकारी खजाना को-

इशरत बानो 

सुसाशन के चेहरे मे लालच भ्रष्टाचार ,संवेदनहीनता और अहंकार का चेहरा देखकर हो गयी है घृणा- इशरत बानो 

बीआरएन बक्सर।  नगरपरिषद उपाध्यक्षा इशरत बानो ने नगर परिषद बक्सर में व्याप्त भ्रष्टाचार से क्षुब्ध होकर उपाध्यक्ष पद से इस्तीफा देने के संबंध मे सूबे के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को पत्र लिखी है। उक्त पत्र मे इशरत बानो कहती है की वह बक्सर नगर परिषद की निर्वाचित उपाध्यक्ष है। वह एक शिक्षित महिला होते हुए पहली बार वर्ष 2022 में नगर परिषद के उपाध्यक्ष पद का चुनाव लड़ी। नगर परिषद कार्यालय मे व्याप्त भ्रष्टाचार से त्रस्त जनता ने उन्हे सिर्फ इसलिए वोट दिया था कि ताकि वह शायद इसे रोक पाये। एक बड़ी उम्मीद और बड़े भरोसे के साथ बक्सर के लोगों ने उनके जैसे साधारण पृष्ठभूमि की अल्पसंख्यक महिला को अपने नगर परिषद का उपाध्यक्ष चुन लिया। लेकिन सदन में पहुंचने और एक वित्तीय वर्ष बीतने के दौरान सुसाशन के चेहरे मे लालच, भ्रष्टाचार, संवेदनहीनता और अहंकार का चेहरा देखकर घृणा होने लगी । इसके खिलाफ हर प्रकार की लडाई लड़ने के बाद पता चला की नगर निकाय सच में एक कीचड़ है। वह पैदा होकर जबसे होश संभाली तब से नीतीश कुमार ही मुख्यमंत्री है। वह उपाध्यक्ष का चुनाव इसलिए लड़ी ताकि नगर परिषद में व्याप्त भ्रष्टाचार के खिलाफ कायदे से लड़ाई लड़ी जा सके । नगर परिषद के अधिकारी, कर्मचारी, चेयरमैन और उनके दलालों का चतुष्कोणीय गिरोह सरकारी खजाने को दम भर लूट रहे है। जिसे वह कतई बर्दाश्त नही कर सकती।

नक्शा बनाने से लेकर जन्म-मृत्यु प्रमाण पत्र मे जनता से हो रही है वसूली  

पत्र मे वह आगे कहती है की वह अपने सहयोगियों के साथ पिछले डेढ सालों के दौरान मुख्य सचिव और विभागीय प्रधान सचिव से लेकर न जाने किन-किन अधिकारियों और यहाँ तक कि आपको(मुख्य मंत्री) भी मुख्य या प्रतिलिपि आवेदन भेज चुकी है। साक्ष्य उपलब्ध कराया गया लेकिन जाँच के नाम पर हर बार उसे दबा दिया गया। वह अपने सहयोगियों द्वारा भ्रष्टाचार के मामले में दिये गए एक शिकायती आवेदन पर अनुमंडल पदाधिकारी से मिलने तय समय पर पहुँची लेकिन वह नदारद रहे। पाँच महीने बाद भी मामला अधर में लटका हुआ है और किसी कार्रवाई की कोई उम्मीद नहीं लग रही है। लगभग इसी तरह हर किसी ने सच उजागर नहीं होने दिया। लिहाजा सरकारी खजाना आज भी लूटा जा रहा है। करोड़ों से बनने वाली सड़कें तीन माह में टूट जाती है। पाँच सौ का काम पाँच हजार में होता है। कमीशनखोरी चरम पर है। नक्शा बनाने से लेकर जन्म-मृत्यु प्रमाण पत्र सबमें जनता से वसूली जारी है। जनता की उम्मीद पर वह खडा नही उतर पायी , अतः ऐसे में खुद पर वह शर्म कर रही है। करप्शन वाली सिस्टम का एक हिस्सा होने के आरोप से बेहतर वह अपने पद से इस्तीफा देना उचित समझती है। भ्रष्टाचारी व्यवस्था को सुधारने के लिए रत्ती भर भी अधिकार नहीं होने के कारण पद से इस्तीफा दे रही हूँ। मीडिया को प्रेस कॉन्फ्रेंस करके नगर परिषद उपाध्यक्षा इशरत बानो ने बताया की वह गुरूवार को कार्यपालक पदाधिकारी / अध्यक्ष को अपना इस्तीफा सौंप देगी।

नगरपरिषद बक्सर बन चुका है भ्रष्टाचार का अड्डा – रामजी सिंह 

इस दौरान नगरपरिषद उपाध्यक्ष प्रतिनिधी रामजी सिंह ने कहा की नगरपरिषद बक्सर भ्रष्टाचार का अड्डा बन चुका है। सभी मलाई खाने मे व्यस्त है । जनता का हित न कर स्वयं का जेब भरा जा रहा है। ऐसी भ्रष्ट व्यवस्था से तंग आकर ही नगरपरिषद उपाध्यक्षा अपने पद से इस्तीफा दे रही है।

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