
पंचकोसी परिक्रमा के दूसरे दिन नदांव स्थित नर्वदेश्वर महादेव का श्रद्धालुओं ने किया जलाभिषेक …
प्रसाद के रूप मे खिचड़ी बना कर खाने की है लोकपरंपरा
बीआरएन बक्सर । पंचकोसी परिक्रमा के दूसरे दिन गुरुवार को साधु-संतों के साथ श्रद्धालुओं की टोली नदांव गांव पहुंची जहां , नारद सरोवर में स्नान करने के पश्चात नर्वदेश्वर मंदिर में जलाभिषेक किया गया। इसके बाद प्रसाद के रूप मे खिचड़ी बनाकर ग्रहण किया गया । माना जाता है कि यहां खिचडी बनाकर खाने की लोक परंपरा त्रेतायुग से चली आ रही है । भगवान राम जब महर्षि विश्वामित्र के यज्ञ की रक्षा हेतु अपने भाई लक्ष्मण के साथ बक्सर आये थे तो वह पांच गांवों का भ्रमण करते हुए अलग अलग-अलग व्यंजनों को खाये थे । इसी पौराणिक किंवदन्ती के अनुसार नदांव मे खिचड़ी बनाकर खाने की परंपरा चली आ रही है ।
जिला प्रशासन के द्वारा स्थानीय ग्रामीणों की मदद से मेला मे परेशानी न हो , इसका खास ध्यान रखा गया था । मेला मे दुकानदारों ने अपनी अस्थायी दुकानों को सजाया था । मेला घूमने आये लोग उन दुकानों से सामानों की खरीदारी करने मे लगे हुए थे । प्रशासन के द्वारा विधि व्यवस्था बनाए रखने के लिए पुलिस बलों की तैनाती की गयी थी । स्थानीय जनप्रतिनिधी भी मेला मे उपस्थित रहे ।
कांग्रेस जिलाध्यक्ष ने नर्वदेश्वर मंदिर में पूजन कर वितरण किया सत्तू-मूली का प्रसाद
कांग्रेस जिलाध्यक्ष डॉ मनोज पांडे ने पंचकोसी परिक्रमा के दूसरे दिन जिला कांग्रेस कमेटी के वरिष्ठ पदाधिकारियों के साथ नदांव पहुंचकर नर्वदेश्वर महादेव का विधि विधान से पूजन-अर्चन किया। साथ ही उनके द्वारा श्रद्धालुओं मे सत्तू मूली का प्रसाद भी वितरण किया गया। उक्त अवसर पर डॉ पांडे ने कहा कि पंचकोशी यात्रा मे प्रभु श्रीराम के द्वारा भ्रमण किये स्थानों पर पहुंचकर पूजा अर्चन के उपरांत प्रसाद खाने की परंपरा त्रेतायुगीन है । पंचकोसी यात्रा से जुड़े स्थलों पर भगवान का पूजा-पाठ कर अपना एवं देश की खुशहाली के लिए प्रार्थना व कामना की जाती है । अतः इस परंपरा को जीवंत रखने की आवश्यकता है। उक्त यात्रा में जिला कांग्रेस कमेटी कार्यकर्ताओं के साथ पंडित मुक्तेश्वर शास्त्री, हृदय आनंद शास्त्री , झूलन सिंह, सहित कई लोगों ने भगवान शंकर की पूजा कर आशीर्वाद प्राप्त किया तथा परंपरानुसार प्रसाद ग्रहण किया।